Friday, April 26, 2024

गिरफ्तारी के बाद लापता हैं रोजगार के लिए प्रदर्शन कर रहे प्रयागराज के नौजवान

आज हजारों की संख्या में छात्र और छात्राएं प्रयागराज की सड़कों पर उतर पड़े। बालसन चौराहे पर आयोजित प्रदर्शन को जिला प्रशासन के अनुरोध के बाद पुराना गिरजाघर स्थित धरना स्थल पर किया गया। प्रशासन से मांग की गई कि जब तक रिक्त पदों पर भर्तियों का विज्ञापन नहीं निकलता तब तक धरना जारी रहेगा, लेकिन प्रशासन ने इसकी अनुमति न देकर युवा मंच के संयोजक राजेश सचान, अध्यक्ष अनिल सिंह समेत अन्य युवाओं, जिनमें करीब दस छात्राएं भी हैं, को गिरफ्तार कर लिया। आल इंडिया पीपुल्स फ्रंट ने गिरफ्तारी की कड़ी निंदा करते हुए इस बात पर आक्रोश व्यक्त किया कि प्रयागराज जिला प्रशासन ने अभी तक यह नहीं बताया है कि युवा मंच के नेताओं को कहां रखा गया है।

युवा मंच के बैनर तले रोजगार को मौलिक अधिकार बनाने, देश में खाली पड़े 24 लाख पदों पर भर्ती चालू करने, अधीनस्थ सेवा चयन आयोग में पीईटी की व्यवस्था पर रोक लगाने और छह माह में रिक्त पदों को भरने जैसे सवालों पर युवाओं ने प्रदर्शन किया। आइपीएफ के राष्ट्रीय प्रवक्ता और पूर्व आईजी एसआर दारापुरी ने कहा कि प्रयागराज जिला प्रशासन को बताना चाहिए कि युवा मंच के नेता और छात्र छात्राएं कहां हैं।

गौरतलब है कि युवा मंच रोजगार को मौलिक अधिकार बनाने और रिक्त पदों पर भर्ती चालू करने की मांग पर लंबे समय से आंदोलनरत है। विगत वर्ष 17 सितंबर को रोजगार के सवाल पर युवा मंच द्वारा प्रयागराज में हुआ आंदोलन राष्ट्रीय स्तर पर चर्चा में आया था। इस आंदोलन के बाद मुख्यमंत्री ने खुद छह माह में प्रदेश में रिक्त पड़े पदों को भरने की घोषणा की थी, लेकिन इस पर अमल नहीं हुआ। हालात इतने बुरे हैं कि सरकार ने 10 हजार प्राथमिक विद्यालयों को खत्म करने, अधीनस्थ सेवा चयन आयोग में चार साल तक चयन प्रक्रिया ठप्प रखने के बाद अब पीईटी जैसी अर्हता परीक्षा कराने की बात कर नियुक्ति की संभावनाओं को ही खत्म कर दिया है।

तकनीकी संवर्ग में लाखों पद खाली हैं, पर विज्ञापन नहीं निकाला जा रहा है। एक तरफ प्रदेश में रोजगार का भयावह संकट है, छात्र और नौजवान अवसाद में आत्महत्याएं कर रहे हैं, वहीं सरकार द्वारा रोजगार के नाम पर अपनी उपलब्धियों का ढिंढोरा पीटा जा रहा है। आइपीएफ ने प्रदेश सरकार से तत्काल सभी गिरफ्तार युवा नेताओं और छात्रों को रिहा करने और उनकी मांगों पर विचार करने की मांग की है। ज्ञात हो कि आज ही संयुक्त किसान मोर्चा द्वारा पूरे देश में दमन विरोधी दिवस भी मनाया गया है जिसका भी युवा मंच ने समर्थन किया।

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