Tag: civil

  • यूनिफॉर्म सिविल कोड का मतलब और मकसद

    यूनिफॉर्म सिविल कोड का मतलब और मकसद

    अगले आम चुनाव में भारतीय जनता पार्टी का मुख्य एजेंडा समान नागरिक संहिता होगा, इस बात की पुष्टि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कर दी है। वैसे इसके संकेत तभी मिल गए थे, जब जून के मध्य में 22वें विधि आयोग ने इस बारे में विभिन्न पक्षों से नए सिरे से सुझाव आमंत्रित किए। जबकि उसके…

  • मणिपुर पर सिविल सोसाइटी ने कहा- पीएम मोदी चुप्पी तोड़ें और विभाजनकारी राजनीति से बाज आए बीजेपी

    मणिपुर पर सिविल सोसाइटी ने कहा- पीएम मोदी चुप्पी तोड़ें और विभाजनकारी राजनीति से बाज आए बीजेपी

    देश के नागरिक संगठनों और एक्टिविस्टों ने मई, 2023 की शुरुआत से मणिपुर में मेइती समुदाय तथा आदिवासी कुकी और जो समुदायों के बीच जारी जातीय हिंसा के बारे में गहरी चिंता व्यक्त की। इस समूह ने एक बयान जारी किया है जिसमें  प्रधानमंत्री से देश में चल रहे गृहयुद्ध (मणिपुर) पर अपनी विचलित कर…

  • केंद्र सरकार उत्तर-पूर्वी दिल्ली दंगों को रोकने में नाकाम रही: पूर्व जजों और नौकरशाहों की समिति

    केंद्र सरकार उत्तर-पूर्वी दिल्ली दंगों को रोकने में नाकाम रही: पूर्व जजों और नौकरशाहों की समिति

    उत्तर पूर्व दिल्ली में फरवरी 2020 के दंगों को भड़काने और उस पर प्रभावी नियंत्रण के लिए पर्याप्त कदम न उठाने के लिए सुप्रीम कोर्ट और उच्च न्यायालय के पूर्व न्यायाधीशों और केंद्र सरकार के पूर्व गृह सचिव की एक नागरिक समिति ने समाचार मीडिया, सोशल मीडिया, भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) और हिंदू राष्ट्रवादी नेताओं,…

  • उत्तराखंड: समान नागरिक संहिता से राजनीतिक संकट का सामना

    उत्तराखंड: समान नागरिक संहिता से राजनीतिक संकट का सामना

    विधानसभा समेत विभिन्न विभागों में अपने-अपनों को नौकरियों की रेवड़ियां बांटने के खिलाफ उत्तराखण्ड में मचे बवंडर को शांत करने के लिये प्रदेश सरकार ने पहले भूकानून समिति की रिपोर्ट खुलवा कर फायर फाइटिंग का प्रयास किया और जब वह हथियार बेअसर हो गया तो अब समान नागरिक संहिता का अपना बचा खुचा हथकण्डा चला…

  • सुप्रीम कोर्ट के फैसले से सुपर पावर बनी ईडी अब विधायिका पर भी भारी

    सुप्रीम कोर्ट के फैसले से सुपर पावर बनी ईडी अब विधायिका पर भी भारी

    धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) में संशोधन को उच्चतम न्यायालय ने संवैधानिक घोषित कर दिया है ! संशोधन के पहले तक धन शोधन एक स्वतंत्र अपराध की श्रेणी में नहीं आता था अपितु यह किसी अन्य अपराध पर निर्भर करता है जिसे ‘पूर्वगामी अपराध’ या ‘अनुसूचित अपराध’ के रूप में जाना जाता था। उच्चतम न्यायालय के जस्टिस एएम खानविलकर, जस्टिस दिनेश माहेश्वरी और जस्टिस…

  • लोकतांत्रिक अधिकारों के प्रति अपनी संकीर्ण सोच के लिए याद किए जाएंगे जस्टिस खानविलकर

    लोकतांत्रिक अधिकारों के प्रति अपनी संकीर्ण सोच के लिए याद किए जाएंगे जस्टिस खानविलकर

    जस्टिस एएम खानविलकर रिटायर हो गए हैं। पर रिटायर होने के पहले उन्होंने जिन कुछ मुकदमों का निस्तारण किया है, उनके फैसलों में आए कुछ निष्कर्ष ऐसे हैं, जिन्होंने, कानूनी जानकारों को न केवल हैरान किया है, बल्कि न्याय के मूलभूत सिद्धांतों का भी उल्लंघन किया है। वकीलों और कानून के जानकारों के बीच एक…

  • समान नागरिक संहिता के नाम पर ढकोसला कर रही है धामी सरकार

    समान नागरिक संहिता के नाम पर ढकोसला कर रही है धामी सरकार

    यह जानते हुये भी कि समान नागरिक संहिता राज्य सरकार या विधानसभा का विषय नहीं है, फिर भी उत्तराखण्ड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चम्पावत उपचुनाव से ठीक 4 दिन पहले नागरिक संहिता का मजमून तैयार करने के लिये सुप्रीम कोर्ट की पूर्व जज न्यायमूर्ति रंजना प्रकाश देसाई की अध्यक्षता में कमेटी का गठन…

  • गलत मंशा से प्रेरित है बीजेपी सरकारों का समान नागरिक संहिता कानून: आइपीएफ

    गलत मंशा से प्रेरित है बीजेपी सरकारों का समान नागरिक संहिता कानून: आइपीएफ

    नई दिल्ली। भाजपा की चार राज्य सरकारों ने समान नागरिक संहिता को लागू करने का फैसला किया है। उसमें हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश आते हैं। हालांकि आदिवासी इलाके में विषय की जटिलता को देखते हुए भाजपा ने असम में इसे लागू करने का फैसला नहीं लिया है। समान नागरिक संहिता पर…

  • उत्तराखण्ड में नागरिक संहिता, महज धामी का खयाली पुलाव

    उत्तराखण्ड में नागरिक संहिता, महज धामी का खयाली पुलाव

    उत्तराखण्ड में पुष्कर सिंह धामी की कैबिनेट ने अपनी पहली ही बैठक में पहला प्रस्ताव पारित कर राज्य में समान नागरिक संहिता लागू करने का ऐलान कर दिया। यह वायदा मुख्यमंत्री ने विधानसभा चुनाव के दौरान प्रदेश की जनता से किया था। इसके पीछे तर्क यह है कि गोवा राज्य में पहले से ही समान…

  • इलाहाबाद से प्रयागराज: नाम ही नहीं, पूरा शहर बदल गया है!

    इलाहाबाद से प्रयागराज: नाम ही नहीं, पूरा शहर बदल गया है!

    1977 में हम इलाहाबाद आए। तब से लेकर आज तक इलाहाबाद में बहुत बदलाव देखे। तब यह शहर फल, फूल और बगीचों का शहर था। अमूमन एक मंजिले, दो मंजिले मकानों का शहर। तिमंजिले मकान थे लेकिन बहुत कम। शहर के सड़क-चौराहे पहले भी चौड़े थे आज उनमें से कुछ और चौड़े हो गये हैं…