Friday, March 29, 2024

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हिमाचल लोकतंत्र को दफ्न करने का ट्रेलर है!

बीजेपी छोटा हो या कि बड़ा किसी भी चुनाव को खरीद-फरोख्त की मंडी में तब्दील कर देती है। हिमाचल प्रदेश में जो कुछ हो रहा है उसकी शुरुआत राज्यसभा चुनावों से हुई थी। पर्याप्त संख्या नहीं होने के बाद...

हिमाचल द्वारा ‘राजकीय आपदा’ के बाद अब केंद्र से ‘राष्ट्रीय आपदा’ की घोषणा का इंतजार

हिमाचल में बारिश की तबाही का मंजर अभी खत्म नहीं हुआ। इसकी जद में अब निचले इलाके भी आ गये हैं। मानवीय त्रासदी के दृश्य भयावह हैं। मलबे में दबकर मर गये लोगों की लाशें अभी निकाली ही जा...

बारिश, तबाही और मौत की आपदा में फंसा हिमाचलः संभलने का अभी भी वक्त है!

चार दिन पहले एक बार फिर हिमाचल में बारिश होनी शुरू हुई। इस बार बारिश का केंद्र शिमला के आस-पास का इलाका था। जैसे-जैसे बारिश का जोर बढ़ा, तबाहियों से भरे दृश्य सामने आने लगे। पहाड़ों के मलबों को...

प्रो. कृष्ण कुमार का लेख: बड़े खतरे की घंटी है हिमाचल प्रदेश की तबाही

यदि आज सिसफस हिमालय की चोटियों को देखने आये, तो उसे जरूर ही कुछ अजीब सा लगेगा। सिसफस को तो एक ना-खत्म होने वाली ऐसी सजा दी गई थी जिसमें उसे भारी पत्थरों को ठेलते हुए ऊपर की ओर ले जाना...

हिमाचल में बारिश और भूस्खलन से 41 लोगों की मौत, उत्तराखंड में भी तबाही का मंजर

नई दिल्ली। बरसात का कहर जारी है। मैदानी इलाकों में स्थिति सामान्य हो चुकी है लेकिन पिछले 3 दिनों से उत्तराखंड और हिमाचल प्रदेश में मूसलाधार बारिश जारी है। लेकिन देश में खबर तब बनती है जब लोग मरते...

विकास मॉडल और मुनाफे की हवस का शिकार बना हिमाचल, भयावह बाढ़ के खतरनाक संकेत

हिमाचल प्रदेश में जुलाई महीने में अब तक 27 जगह बादल फटने की घटनाएं हो चुकी हैं। 500 से अधिक जगहों पर लैंडस्लाइड हुए हैं। प्राथमिक अनुमानों के आधार पर 8,000 करोड़ रुपये का नुकसान हो चुका है। ये नुकसान...

धर्मांतरण के नाम पर हंगामा कर गायब किए जा रहे उत्तराखंड वासियों के असली मुद्दे

देहरादून। दशकों तक चली अलग उत्तराखण्ड राज्य की मांग के पीछे एक प्रमुख कारण इस हिमालयी क्षेत्र की सांस्कृतिक पहचान बनाये रखना भी था। इसी आधार पर उत्तराखण्ड के पड़ोसी हिमाचल प्रदेश के अस्तित्व की मांग को मान्यता मिली...

क्यों पिछड़ गयी हिमाचल की हिंदी कविता?

हिमाचल प्रदेश में लगभग 35 सालों से लगातार छप रही सरकारी हिंदी त्रैमासिक पत्रिका 'विपाशा' की साहित्यक हलकों में ठीक-ठाक साख है। हिमाचल के साहित्यकारों को और देश की 'मुख्यधारा’ के साहित्यकारों के बीच एक पुल का काम यह...

उत्तराखण्ड: एक पहाड़ी विधायक को पहाड़ में नहीं दिया जा रहा आवास

देहरादून। कोई विधायक अगर लगातार क्षेत्र में रहेगा, वहीं प्रवास करेगा तो आखिर अधिकारियों को दिक्कत क्या है? दिक्कत ये हो सकती है कि विधायक कभी भी जनता के किसी काम पर तलब कर देगा। विधायक के सामने जनता...

आत्महत्याओं के रूप में फूट पड़ा है पहाड़ों का दर्द

“आत्महत्या एक घृणित अपराध है, यह पूर्णतः कायरता का कार्य है। क्रान्तिकारी का तो कहना ही क्या, कोई भी मनुष्य ऐसे कार्य को उचित नहीं ठहरा सकता। …. आत्महत्या करना, केवल कुछ दुखों से बचने के लिए अपने जीवन...

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क्या तमिलनाडु में भाजपा को अपने आक्रामक चुनाव अभियान से कुछ हासिल होगा?

तमिलनाडु में सत्तारूढ़ डीएमके सहित एआईडीएमके और भाजपा के द्वारा अपने-अपने गठबंधनों को अंतिम स्वरुप देने का काम लगभग...