Wednesday, April 24, 2024

constitutional values

संवैधानिक मूल्यों को जीने की एक पहल

उनकी आंखों में समता मूलक समाज बनाने का एक सपना जागा है। वे चाहते हैं कि उनके गांव में कोई भूखा, कोई कुपोषित न रहे। वे समाज में जारी छुआछूत, जाति-पंथ और लैंगिक भेदभाव को मिटाने के लिए स्वयं...

कॉर्पोरेट पूंजी के हित में पीएम मोदी का संवैधानिक मूल्यों एवं लोकतांत्रिक संस्थाओं पर हमला

कुछ दिन पहले पाकिस्तान के मशहूर प्रगतिशील शायर अहमद फराज का एक पुराना साक्षात्कार देख रहा था। उस साक्षात्कार में फराज शाहब कहते हैं कि संभवतः (जगह मुझे ठीक से याद नहीं है) लाहौर एक मुशायरे में शिरकत करने...

राजनीतिक पराजय के बाद की पुकार!

लेख के शीर्षक में राजनीतिक पराजय से आशय देश पर नवसाम्राज्यवादी गुलामी लादने वाली राजनीति के खिलाफ खड़ी होने वाली राजनीति की पराजय से नहीं है। वह पराजय पहले ही हो चुकी है, क्योंकि देश के लगभग तमाम समाजवाद,...

Latest News

स्मृति शेष: सत्यजीत राय- वह जीनियस फ़िल्मकार जिसने पहली फिल्म से इतिहास रचा

सत्यजित राय देश के ऐसे फ़िल्मकार हैं, जिनकी पहली ही फ़िल्म से उन्हें एक दुनियावी शिनाख़्त और बेशुमार शोहरत...