Wednesday, April 24, 2024

imperialism

साम्राज्यवाद के ख़िलाफ़ जंग का एक मैदान है साहित्य

साम्राज्यवाद और विस्थापन पर भोपाल में आयोजित कार्यक्रम में विनीत तिवारी ने साम्राज्यवाद के संकट और इसके पूंजीवाद में बदलाव के उदाहरण दिए। उन्होंने इसे वैश्विक स्तर पर शोषण का मुख्य हथियार बताया और इसके विरुद्ध विश्वभर के संघर्षों की चर्चा की। युवा और वरिष्ठ कवियों ने मेहमूद दरवेश की कविताओं का पाठ किया। वक्ता ने साम्राज्यवाद विरोधी एवं प्रगतिशील साहित्य की महत्ता पर जोर दिया।

मुश्किल तो अपने समय के भगत सिंह के साथ खड़ा होना है: संदर्भ छत्तीसगढ़ में मारे गए 29 आदिवासी या गैर-आदिवासी

पहली बात कि भगत सिंह का मानना था कि ब्रिटिश साम्राज्य भारत के बहुसंख्यक लोगों के हितों के खिलाफ है। ध्यान रहे बहुसंख्यक न कि सभी। भारतीयों का एक बड़ा हिस्सा ब्रिटिश साम्राज्य से लाभान्वित हो रहा था, उसके...

साम्राज्यवाद को लगातार चुभने वाला कांटा थे जॉन पिल्जर

नई दिल्ली। मुमकिन है कि यह कथन कुछ लोगों को अतिशयोक्ति लगे कि जॉन पिल्जर हमारे युग के सबसे महान पत्रकार थे। बहरहाल, इसे अगर इस रूप में कहें तो शायद कोई असहमत नहीं होगा कि वे हमारे युग...

अखंड भारत: सीमाएं समय के साथ बदलती रहती हैं?

क्या देशों के बीच की सीमाएं हमेशा एक सी बनी रहती हैं? या फिर समय के साथ बदलती रहती हैं? कई मौकों पर साम्राज्यों-सम्राटों और आधुनिक राष्ट्र-राज्यों की सीमाओं के बीच के फर्क को जानबूझकर नजरअंदाज किया जाता है।...

साम्राज्यवाद के विरुद्ध अडिग चट्टान और मानवता के लिए पंखुड़ी जैसे सुकोमल थे फिदेल कास्त्रो 

कल फिदेल कास्त्रो का 96वाँ जन्मदिन था। इस अवसर पर दिल्ली स्थित क्यूबा दूतावास ने एक छोटा-सा आत्मीय कार्यक्रम रखा था। वक़्त से पहले पहुँच जाने के कारण क्यूबा के भारत में राजदूत कॉमरेड अलेजांद्रो सीमांकास मारिन ने बताया...

दुनिया को विनाश की तरफ ले जा रही है धरती पर कब्जे की साम्राज्यवादी मुल्कों की लड़ाई

धरती के कुख्यात और इतिहास के सबसे शक्तिशाली साम्राज्य एक दूसरे पर चढ़ाई कर रहे हैं। एक खेमे का सिपहसलार जी7 (अमरीका, कनाडा, इटली, जर्मन, फ्रांस, ब्रिटेन और जापान) साम्राज्यवादी समूह हैं। दूसरे खेमे के सेनापति चीन और रूस...

हिन्दू-मुस्लिम समस्या का मर्म 

पूरा देश दावानल में धूं-धूं कर जल रहा है। गरीब हिन्दू-मुसलमान दोनों जंगल में लगी भयानक आग में झुलस-झुलसकर दम तोड़ रहे हैं। बादलों का कहीं नामों निशां नहीं हैं। इंद्रदेव आंखे चुरा रहे हैं। पता नहीं ये दावानल...

कोलम्बिया राष्ट्रपति चुनाव: लैटिन जनता ने लिखी नई इबारत

कोलम्बिया नाम के देश की राजधानी बोगोटा हमसे 8246 मील यानी 13271 किलोमीटर की दूरी पर है। इसे तय करने में बिना स्टॉपेज के लगातार हवाई यात्रा से 20 घंटे लगते हैं। भारत की प्रचलित लोक भाषा में कहें...

जयंती पर विशेष: ब्रिटिश सत्ता के लिए खौफ बन गए थे राम प्रसाद बिस्मिल

देश इस साल आज़ादी का अमृत महोत्सव मना रहा है। सरकारी और गैर सरकारी स्तर पर कई बड़े आयोजन हो रहे हैं, जिनमें देश की आज़ादी के लिए मर मिटने वालों को याद किया जा रहा है। आज़ादी, हमें...

अब बेनकाब हो गया है पश्चिम का सॉफ्ट पॉवर भी

विश्व प्रसिद्ध अर्थशास्त्री माइकल हडसन ने यूक्रेन संकट के बारे में लिखे अपने एक हालिया लेख का शीर्षक दिया है- The American Empire self-destructs यानी अमेरिकी साम्राज्य आत्म-विनाश कर रहा है। हडसन ने ये लेख मुख्य तौर पर यूक्रेन...

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ईवीएम-वीवीपैट केसः सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग से पूछे 4 सवाल

सुप्रीम कोर्ट बुधवार 24 अप्रैल को यानि आज उन याचिकाओं पर अपना फैसला सुनाने वाला है, जिसमें चुनाव के दौरान इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग...