Friday, March 29, 2024

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जनस्वास्थ्य घोषणापत्र का मसौदा: शिक्षा और स्वास्थ्य सभी के लिये मुफ्त हो!

सभी राजनैतिक दल 2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव की तैयारी अपने-अपने ढ़ंग से कर रहे हैं। इस बीच हम जनस्वास्थ्य को भी एक चुनावी मुद्दा बनाना चाहते हैं। हमें थोड़ी भी गलतफहमी नहीं है कि इन मुद्दों को...

ग्राउंड रिपोर्ट: योगी सरकार के कैंप में मिली दवा पिलाने से सैकड़ों भेड़ों की मौत, मुआवजे की मांग

प्रयागराज। छोटी जोत वाले किसानों और कृषि मजदूरों के लिए पशुधन जीवन के हारे-गाढ़े वक्त में काम आता है। लेकिन एक दिन अचानक अपने ही हाथों पिलाई गई दवा उनके लिए काल बन जाये तो? दुःख दूना हो जाता...

भारत में बने कफ सिरप को पीने से गाम्बिया में हुई बच्चों की मौत: सीडीसी रिपोर्ट

गाम्बिया में हुई बच्चों की मौत के लिए सीडीसी ने भारत में बने कफ सिरप को जिम्मेदार माना है। अमेरिका के सेंटर फॉर डिजीज कंट्रोल एंड प्रिवेंशन (सीडीसी) और गांबियाई स्वास्थ्य अधिकारियों की एक संयुक्त जांच में ये कफ...

1 अरब टीका नहीं, पात्र लोगों का पूर्ण टीकाकरण है मील का पत्थर

असली मील का पत्थर 1 अरब टीका खुराक देना नहीं है बल्कि 12 साल से ऊपर सभी पात्र जनता को निश्चित समय-अवधि के भीतर पूरी खुराक टीका देना है। कोविड टीके के संदर्भ में, किसी भी देश का यही...

गरीब देशों में वैक्सीन को लेकर कोई झिझक नहीं

नेचर मेडिसिन नाम के जर्नल में प्रकाशित एक शोध के मुताबिक टीकाकरण को लेकर विकसित व विकासशील देशों की तुलना में गरीब देशों में झिझक कम है। नए अध्ययन के बाद शोधकर्ताओं ने यह दावा किया है कि एशिया,...

सरकार की झोलाछाप मानसिकता से बढ़ रहा है महामारी का संकट

भारत में नौकरशाही तो राजनीतिक सिस्टम का हिस्सा बहुत पहले से बनती रही है। आर्थिक, वैदेशिक और रक्षा मामलों के विशेषज्ञ और सलाहकार भी सरकार के शीर्ष राजनीतिक नेतृत्व की भाव-भंगिमा के अनुरूप सलाह देते रहे हैं, लेकिन कोरोना...

सुप्रीम कोर्ट ने पूछा- क्या कोविड-19 का इलाज आयुर्वेद, होम्योपैथी से है संभव

कहा जाता है कि नीम हकीम खतरे जान। इसे परोक्ष रूप से दोहराते हुए उच्चतम न्यायालय  ने गुरुवार को कहा कि हर किसी को दवाएं लिखने की इजाजत नहीं दी जा सकती। उच्चतम न्यायालय ने कोविड-19 के लिए प्रतिरोधक...

धन्वंतरि के देश में बेइलाज मरते लोग

आज धन्वन्तरि जयंती है। धन्वन्तरि को आर्युवेंद का प्रादुर्भावक कहा जाता है और दिवोदास, च्यवन, सुश्रुत, चरक को उनकी परंपरा का वाहक माना जाता है, लेकिन मुझे लगता है चूंकि उन्होंने आयुर्वेद के बाबत लिखा था, इसलिए उन्हें प्रादुर्भावक...

टोना-टोटका और अंधविश्वास नहीं वैज्ञानिक प्रामाणिकता है बीमारियों के इलाज का पैमाना

1991 के बसंत में कनाडा की मैकमास्टर युनिवर्सिटी के डाक्टर जार्डन गुयात ने ‘साक्ष्य आधारित चिकित्सा’ (एविडेंस बेस्ड मेडिसिन) पारिभाषिक पद गढ़ा था। सरल शब्दों में इसका अर्थ होता है- मरीजों के इलाज के बारे में उस समय तक...

अमेरिका ने कोरोना की दवा का तीन महीने का पूरा स्टॉक खरीदा, किसी अन्य देश को नहीं मिल पाएगी रेमडेस्विर

नई दिल्ली। वैसे तो सारे विशेषज्ञों का कहना है कि कोविड-19 से निपटने का अंतिम उपाय वैक्सीन है, लेकिन वैश्विक स्तर पर ऐसी दवाओं की खोज भी की जा रही थी और अभी भी की जा रही है, जो...

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ग्राउंड रिपोर्ट: चुवांड़ी खोदकर पानी पीने को मजबूर पलामू की परहिया जनजाति

झारखंड के पलामू जिला अंतर्गत रामगढ़ प्रखण्ड का एक गांव है मरगड़ा। आदिम जनजाति परहिया के 60 परिवारों वाला...